कीमोथेरेपी क्या है?

Cancer Treatments

कीमोथेरेपी सामान्य रूप से वेन्स के जरिये दिए जाने वाले ड्रग्स के लिए कीमोथेरेपी की जाती है क्योंकि ज़्यादातर लोग इंटरवेंस इन्फ्यूजन की प्रक्रिया के द्वारा एंटी कैंसर ड्रग्स लेते हैं। इसके लिए एक लिक्विड ड्रग्स से भरे बैग को एक ट्यूब से जोड़ा जाता है जिसे वेन्स से जोड़कर ड्रग्स को मरीज के शरीर में पहुँचाया जाता है।

इन एंटी कैंसर ड्रग्स को दवाओं और इंजेक्शन के जरिये भी लिया जा सकता है। जब कीमोथेरेपी वेन्स के द्वारा दी जाती है तो उन कैंसर सेल्स को खत्म करना आसान हो जाता है जो कैंसर के मूल स्थान से फैल चुके होते हैं।

शरीर के बाकी हिस्सों की तुलना में टेस्टिस और दिमाग को कीमोथेरेपी ड्रग्स बहुत कम प्रभावित कर पाते हैं इसलिए इन अंगों के लिए दूसरी तकनीक का इस्तेमाल करने की जरुरत पड़ती है।

कीमोथेरेपी जहाँ कैंसर सेल्स को फैलने से रोकती है वहीं इस थेरेपी से शरीर को कई तकलीफें भी उठानी पड़ सकती है।

ये थेरेपी कैंसर सेल्स को खत्म करते-करते स्वस्थ सेल्स को भी नुकसान पहुंचा सकती है। क्योंकि एंटी कैंसर ड्रग्स एक कैंसर सेल से ज्यादा सेल्स को भी प्रभावित करती है जिससे स्वस्थ सेल्स को भी क्षति पहुँचती है। इसलिए जिन मरीजों को ये थेरेपी दी जाती है उनके मुँह में घाव, पेट में परेशानी, कमजोरी आना और बालों का झड़ना जैसी समस्याएं होती हैं।

इसके अलावा कीमोथेरेपी की स्थिति में शरीर का इन्फेक्शन से जल्दी प्रभावित होना भी शुरू हो जाता है।

कीमोथेरेपी का एक बड़ा साइड इफेक्ट ये भी है कि ये थेरेपी ऐसे सेल्स को भी प्रभावित कर सकती है जो ब्लड क्लोटिंग करते हैं जिसके कारण खून बहने का ख़तरा भी काफी बढ़ जाता है।

कैंसर जैसे रोग का इलाज करने के लिए कीमोथेरेपी दी जाती है और ये थेरेपी शरीर में कैंसर को फैलने से रोकती भी है और इसके साइड इफेक्ट्स भी शरीर को झेलने पड़ते हैं।