ब्रेन ट्यूमर से जूझ रहे मरीजो को पेय पदार्थ पिला के जाँच की जाएगी।

बर्मिंघम यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने अब एक ऐसा पेय पदार्थ विकसित किया है

बर्मिंघम यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने अब एक ऐसा पेय पदार्थ विकसित किया है, जिसे ब्रेन ट्यूमर से जूझ रहे मरीज को पिलाने पर उसके मस्तिष्क में मौजूद कैंसर ग्रस्त कोशिकाएं गुलाबी रंग में बदल जाएंगी।

शोधकर्ताओं के मुताबिक यह हाई-टेक पेय सर्जरी से कुछ घंटे पहले मरीज को पिलाया जाता है, जिसके बाद डॉक्टर को कैंसर की शिकार कोशिकाओं को पहचानने और उन्हें बाहर निकालने में मदद मिलती है। इंग्लैंड में न्यूरो विशेषज्ञों ने इस पेय का इस्तेमाल भी शुरू कर दिया है। इससे मरीज को समय रहते सही इलाज देने और उसकी जान बचाने की संभावना दोगुनी हो जाती है।

खास डाई का इस्तेमाल- 
-ग्लिओलान या '5-एएलए' नामक पेय के निर्माण में एक खास डाई का इस्तेमाल किया गया है, जो कैंसर के एक यौगिक के साथ प्रतिक्रिया करता है और पराबैंगनी प्रकाश पड़ने पर इसे गुलाबी रंग में बदल देता है। इससे 3-डी स्कैन के जरिये सर्जन को स्वस्थ हिस्से में कैंसर से ग्रस्त कोशिकाओं और ऊतकों की मौजूदगी का पता चल जाता है। वे उन्हीं कोशिकाओं को निकालते हैं। स्वस्थ कोशिकाओं के कटने की आशंका घट जाती है।

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